Written by Pratibha Sharma
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ना आना इस देश मेरी लाडो।
ना है तू यहां महफूज।
जन्म लेते ही रखते बुरी नजर।
हर कदम पर है यहां हैवान।
जहां निगाहें घूमाए वहां है खौफ।
कर दिया जाता रेप।
नहीं जीने देंगे यह तुझे।
लाडो तू अब परिवार समाज देश में ना है सुरक्षित।
जहां परिवार ही सबसे महफूज जगह हुआ करता था वही बना है अब खौफ की जगह।
रिश्तो ने ही किया है शर्मशार।
इस सामाज ने पहले भी ना किया स्वीकार।
कुछ इतिहास के पन्नों पर नजर डाली जाए तो पहले भूंण में ही लड़कियों को मार दिया जाता था।
जन्म लेने ही नहीं दिया जाता था।
हर पल महिलाओं को दहेज के लिए किया जाता था प्रताड़ित।
पहले भी ना थी तू महफूज और अभी ना हैं।
पहले जन्म लेने ही नहीं दिया जाता था।
अब जन्म होते ही रखते बुरी नजर कर दिया जाता रेप।
2023 चल रहा है।पहले और अब मैं बस फर्क इतना ही है जन्म तो होने दिया जाता है पर जन्म के बाद यह हैवान तुझे नोच खाते।
एक तरफ बेटी बचाओ अभियान चलते।
वही दूसरी तरफ बेटियों पर रखते बुरी नजर कर दिया जाता रेप।
कहीं भी भेजने से पहले हजार बार सोचना पड़ता स्कूल ,कॉलेज, ऑफिस हो या फिर रिश्तेदारों के यहां हर जगह मुखौटा पहने बैठे हैं हैवान।
हर पल डर सा लगा रहता। कहीं कुछ हो ना जाए।
किस पर ऐतबार करें किस पर ना करें यह तय करना हुआ बड़ा मुश्किल ।
ना आना इस देश मेरी लाडो।
डिस्क्लेमर (अस्वीकरण) : इस आलेख में व्यक्त किए गए विचार लेखक (प्रतिभा शर्मा) के निजी विचार हैं। इस आलेख में दी गई किसी भी सूचना की सटीकता, संपूर्णता, व्यावहारिकता अथवा सच्चाई के प्रति AYN NEWS उत्तरदायी नहीं है। इस आलेख में सभी सूचनाएं लेखक द्वारा उपलब्ध करवाई गई ज्यों की त्यों प्रस्तुत की गई हैं। इस आलेख में दी गई कोई भी सूचना, तथ्य अथवा व्यक्त किए गए विचार AYN NEWS के नहीं हैं तथा AYN NEWS उनके लिए किसी भी प्रकार से उत्तरदायी नहीं है।
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